Loading...

Kamvasna

wife sex kahani

बिस्तर में ठंडी बीवी बनी सेक्सी बीवी

What did you think of this story
 100% 0%

Wife Sex Kahani में पढ़ें कि मेरी शादी हुई तो मेरी दुल्हन को चुदाई में ज़रा भी रूचि नहीं थी. वह मेरे सामने लेट जाती, मैं उसे चोद देता. तो मैंने अपनी एक दोस्त की मदद ली.

मेरे एक दोस्त संतोष ने अपने जीवन की यह कहानी मुझे बताई।
उसकी अनुमति से मैं यह कहानी कामवासना पर प्रकाशित करवा रहा हूँ पात्रों के नाम बदलकर!

Wife Sex Kahani संतोष के शब्दों में:

मैं संतोष … जब से जवान हुआ बहुत सेक्सी था।
मेरे छोटे शहर में अच्छा कॉलेज नहीं था तो मैंने पुणे में हॉस्टल में रहकर पढ़ाई की.

22 वर्ष की उम्र में मुझे पुणे में एक प्राइवेट कंपनी में नौकरी मिली।
23 साल की उम्र में मैंने तय किया मैं शादी करूँगा.

मेरी कोई प्रेमिका नहीं थी।
शादी के लिए लड़की ढूँढने ले लिए घर वालों को कैसे बोलूं, समझ नहीं आ रहा था।

तब मुझे अपने बचपन की दोस्त मोना का ख्याल आया.
मोना मेरे शहर की थी, बचपन में उसके साथ खेल कर बड़ा हुआ।
बाद में मैं पुणे चला गया।

मोना की शादी हो गयी थी, आजकल मोना अपने पति के साथ पुणे में रहती है.
मैं अक्सर उसके घर जाता हूँ, उसके पति से भी मेरी बनती है।

मैंने मोना का अपनी समस्या बताई तो मोना ने मेरे घर वालों को मेरी शादी के लिए मना लिया।

तब मैंने घर वालों की मदद से कुछ लड़कियां देखी।
मुझे रति पसन्द आयी, मेरी शादी हो गयी।

रति पढ़ी लिखी, सुन्दर, भरे बदन की थी।
हमारी शादी हमारे पुश्तैनी शहर में हुई.

अपने दोस्तों से मैंने उनकी सुहागरात की रोमांटिक कहानी सुनी हुई थी.
मेरे दोस्तों ने मुझे सलाह दी थी कि पत्नी से जबरदस्ती मत करना। पहले थोड़ी बात चीत करना, फिर धीरे धीरे चुम्बन से शुरु करना और आगे बढ़ना.

सुहागरात को रति घागरा चोली में सजकर पलंग पर बैठी थी.
मैंने उसका घूंघट उठाकर उसकी सुंदरता की तारीफ की, उसे उपहार दिया।

उसे मैंने अपने बारे में, मेरे कॉलेज, काम और परिवार के बारे में बताया।
मेरी बीवी रति ने भी उसके बारे में बताया।

जब मुझे लगा हमारा सही समय आ गया है आगे बढ़ने का तो मैंने रति के गाल और मस्तक चूमे।
रति ने विरोध नहीं किया.

मैं रति के होंठ चूमने लगा.
रति मुट्ठी भींचकर बैठी थी, मुझे लगा शर्मा रही है

मैंने रति को लिटा दिया, उसके चूचे चोली के ऊपर से दबाने लगा.
मैं बहुत उत्तेजित हो गया।

मैंने चोली उतारने की जल्दबाजी में चोली के कुछ हुक तोड़ दिए, चोली सामने से हटाकर ब्रा के ऊपर चूचे दबाने लगा, साथ ही मैं घागरे में हाथ डालकर रति की जाँघों पर हाथ फेरने लगा।
रति बिना विरोध किये लेटी थी.

जब मैंने घागरा उतारने की कोशिश की तो रति ने घागरा अपनी कमर तक ऊँचा करके कहा- पूरे कपड़े मत उतारिये. मैं थक गयी हूँ, आप ऐसे ही कर लीजिये, आपका हक़ बनता है।

मैंने रति की पैंटी उतार दी.
उसकी चूत पर हाथ फेरकर महसूस किया तो चूत एकदम सूखी थी।

लेकिन मैंने पढ़ा था और दोस्तों से सुना थाकि जब स्त्री गर्म हो जाती है तो उसकी चूत से रस निकलता है, गीली हो जाती है.
पर मेरी दुल्हन रति की चूत सूखी थी.

मैंने अपना पजामा उतारा और खड़ा लंड चूत में डालने की कोशिश की.
लंड चूत में नहीं जा रहा था.

रति मुट्ठी भींचकर मुँह साइड में करकर चित लेटी थी, जैसे झेल रही हो.

इसी कोशिश में मैं झड़ गया, मेरा वीर्य रति की जाँघों पर गिरा।

मैंने रूमाल से वीर्य साफ़ किया, रति ने घागरा अपने पैरों की तरफ किया, चोली पहनी और करवट लेकर सो गयी।

तब मैंने अपना पजामा पहना और निराश सा सो गया.

सुबह मैंने अपने शादीशुदा दोस्त से सब कहा।
दोस्त बोला- पहली बार ऐसा बहुतों के साथ होता है। संतोष, तू आज रात बीवी के पास जाने से पहले हस्तमैथुन करके जाना. इससे तुझे जोश देरी से आएगा और तू जल्दी नहीं झड़ेगा. और डालने से पहले लंड पर नारियल का तेल लगा लेना.

रात को जब मैं बैडरूम में गया तो रति ने नाइटी पहनी थी।

मैं रति को चित लिटाकर उसके होंठ चूमने लगा.
सिर्फ मैं ही चूम रहा था, रति नहीं!
उसने अपना मुँह बंद कर रखा था, मैं उसके होंठ अच्छे से चूस नहीं सका।

रति की नाइटी सामने से खुलती थी, मैंने नाइटी खोल दी, उसका पूरा बदन ब्रा पैंटी में दिख था, सिर्फ कंधों पर और पीछे नाइटी थी.

मेरी देसी वाइफ ने नाइटी पूरी नहीं उतारने दी.
मैं ब्रा के ऊपर चूचे दबाने लगा.

फिर मैंने उसकी पैंटी उतार दी.

मैंने अपने लंड पर तेल लगाया और चूत में डालने की कोशिश की.
परन्तु मुझे चूत का छेद नहीं मिल रहा था.
तब रति ने मेरा लंड पकड़कर अपनी चूत की छेद पर रखा.
मैंने झटके से लंड चूत में डाल दिया।

रति आ आ करने लगी, उसकी आंखों में आंसू आ गए।
मैंने कहा- ज्यादा दर्द हो रहा है तो थोड़ा रुकता हूँ।

रति बोली- मेरी फ़िक्र मत करिये, आप कर लीजिये, पति का हक़ बनता है।

मैं चुदाई करने लगा.
रति मुर्दे की तरह लेटी रही, ना मना किया न सम्भोग में उत्साह दिखाया।

मैं थोड़ी देर में चूत में झड़ गया.

कुछ पल बाद मैं रति के ऊपर से उतर गया.
चादर में रति की सील टूटने से खून लगा था।

रति ने चादर बदली, बाथरूम से आकर कपड़े पहनकर सो गयी।
मुझे अपनी दुल्हन की पहली चुदाई में उतना मजा नहीं आया जिसकी मैंने कल्पना की थी।

मैं और रति पुणे चले गए, जंहा मैं नौकरी करता था।

मेरे बचपन की दोस्त मोना और उसके पति ने मेरे फ्लैट को सजा रखा था, उन्होंने हमारा स्वागत किया।

मैंने शादी के समय रति की मुलाकात मोना से कराई थी।
मोना ने छोटी सी पार्टी का इंतजाम किया था, पार्टी के बाद दोनों चले गए.

रति ने फ्लैट सलीके से सजाया, वह अच्छा खाना बनाती।
रात को रति सामने से खुलने वाला नाइटी पहनती थी पर सम्भोग के समय वह नाइटी सामने से खोलकर कहती- जल्दी कर लीजिये।
रति मोना ब्रा भी नहीं उतारती, नाइटी भी पूरी नहीं उतारती.
मैं उसकी पैंटी उतारकर बेमन से सम्भोग करता।

रति की चूत से कभी रस नहीं निकलता, हर बार मुझे लंड पर तेल लगाना पड़ता.

ऐसे ही एक महीना बीत गया.

मैंने रति के सेक्स में ठंडी होने की समस्या की बात मोना को बताने का निर्णय किया यह सोच कर कि शायद मोना कोई हल निकाल सके।

मेरे और मोना के बीच कोई पर्दा नहीं था।
मैं और मोना बचपन में डॉक्टर डॉक्टर खेलते थे। कभी मैं डॉक्टर बन जाता और मोना के जनन अंगों ( चूत, चूची ) की जाँच करता, कभी मोना डॉक्टर बनकर मेरे लुल्ली की जाँच करती।

थोड़ा बड़ा होने पर जब मेरा लंड खड़ा होने लगा, मोना सोये लंड को सहलाकर कहती- जादू से बड़ा हो जा!
लंड बड़ा होने पर वह खुश होती।

मोना के चूचे जब बड़े होने लगे, वह मुझे दिखाती।

हम इससे आगे नहीं बढ़े.
बाद में मैं कॉलेज में पढ़ने पुणे चला गया.

एक दिन मैंने मोना को फ़ोन किया, कहा कि मैंने उससे अकेले में मिलना है।

मैं ऑफिस से जल्दी छुट्टी लेकर मोना के घर गया।
वहां उसे मैंने रति के सेक्स में ठंडी होने की बात विस्तार से बताई।

जब मोना ने सुना कि रति की चूत कभी गीली नहीं होती, कामरस नहीं निकलता तो मोना बोली- शायद रति को किसी कारण उत्तेजना नहीं आती, मैं रति से निकटता बढ़ाकर कारण जानने की कोशिश करुँगी। यदि इससे बात नहीं बनी तो डॉक्टर से सलाह करना।

मोना ने पूछा- संतोष क्या मोना ने हॉस्टल में रहकर पढाई की?
मैंने कहा- हाँ, रति कॉलेज हॉस्टल में रहती थी. पर इसे मोना के ठंडी होने का क्या सम्बंध?
मोना बोली- ऐसे ही पूछ लिया!

अगले दिन से जब मैं ऑफिस में होता मोना रोज रति से मिलने आने लगी.
कभी रति मोना के घर जाती, दोनों मिलकर बाजार जाती, नए नए खाने बनाती, घूमती, मूवी देखती।

यह सब मुझे रति ने बताया।

एक हफ्ते बाद रति कुछ ज्यादा ही खुश दिखने लगी.

ऐसे ही दो सप्ताह बीत गए.
मोना ने मुझे अकेले मिलने बुलाया।

मिलने पर मोना बोली- संतोष, तुम अपनी पत्नी रति को बिस्तर पर गर्म करने के लिए उसकी चूत चूमा करो, चूत में जीभ डालकर चूसा करो, भगनासा पर उंगली फिराओ।

मैंने कहा- मुझे चूत चूसनी नहीं आती।
मोना बोली- सीख जाओगे, मुझे विश्वास है रति तुम्हें सिखा देगी।

मैंने पूछा- मोना तुमको कैसे मालूम हुआ?
मोना बोली- यह नहीं पूछो, जैसा कहा वैसा करो!

रात को मैंने रति को चूमना शुरू किया.
उसने नाइटी सामने से खोल दी, मुट्ठी भींचकर अकड़ कर चित लेट गयी।

मैंने रति की पैंटी उतारी और उसकी चूत चूमने लगा.
रति ने अपने बदन को ढीला छोड़ दिया, पैर और फैला दिए।

मैं चूत में जीभ डालकर चूत चूसने लगा, भगनासा पर उंगली फेरने लगा।

रति सी सी सीत्कारी लेने लगी, मेरे सर को चूत की तरफ दबाने लगी, मचलने लगी।

उसकी चूत से पहली बार कामरस की धार बहने लगी।

रति ने अपनी ब्रा उतार दी, वह अपने चूचे दबाने लगी.

रति बुदबुदा कर बोली- अब रहा नहीं जा रहा, जल्दी से डाल दो!
उसने पहली बार नाइटी पूरी उतार दी।

मैंने लंड बिना तेल लगाए डाला, चूत गीली होने से आसानी से लंड चूत में चला गया।
मैं धीरे धीरे चोदने लगा, चूचे दबाने लगा, चूचे चूसने लगा।

रति कमर उछालकर साथ देने लगी।
वह बोली- और जोर से!

मैंने चोदने की गति बढ़ा दी.
करीब 15 मिनट बाद रति की चूत से रस का फव्वारा निकला.
इसके बाद वह निढाल लेट गयी.

मैंने अपनी पत्नी की चुदाई जारी रखी, थोड़ी देर में मैं रति की चूत में झड़ गया।

रति लेटे लेटे मुस्कुरा रही थी, उसके चेहरे पर संतुष्टि की मुस्कान थी।

मुझे पहली बार सम्भोग में इतना आनंद आया.

रति बाथरूम से होकर आयी और नंगी ही लेट गयी.
मैं बाथरूम से लंड धोकर आया।

रति के पास लेटकर मैंने उसके ओठों पर चुम्बन लेकर कहा- कैसा रहा?
उसने मेरी छाती में मुँह छिपा लिया, मेरे बालों पर हाथ फेरने लगी.

मैं रति की पीठ पर हाथ फेरने लगा।

मुझे लगा कि रति की एक बार फिर सम्भोग की इच्छा हो रही है.

मैंने रति के कान में कहा- मेरा चूसोगी?
रति ने हाँ में सर हिलाया.

हम 69 पोजीशन में आ गए, मैं रति की चूत चूस रहा रहा था, रति मेरा लंड।

रति की चूत फिर से गीली हो गयी।
वह बोली- अब मेरी बारी है.

उसने मुझे चित लेटने को कहा, मेरा लंड चूत में लेकर रति उछलने लगी।
उसके भरे चूचे उछल रहे थे, मैं चूचे दबाने लगा।

थोड़ी देर बाद रति मेरे ऊपर से उतरकर बोली थक गयी।
मैंने रति को घोड़ी बनाकर पलंग के किनारे खड़ी किया, फर्श पर खड़े होकर उसकी चूत में लंड डाला, उसकी कमर पकड़कर घमासान चुदाई की।

करीब आधा घंटे बाद हम दोनों झड़ गए और थककर नंगे ही सो गए.
दूसरे दिन मैंने ऑफिस से मोना को फ़ोन करकर कहा- मोना धन्यवाद! तुम्हारा बताया तरीका काम आया।

मोना बोली- दोस्ती में धन्यवाद नहीं! ऐश करो।

छुट्टी के दिन मैंने मोना और उसके पति को खाने पर बुलाया.

मैं और रति रोज सम्भोग का आनंद लेते। मैं और रति साथ में सेक्स वीडियो देखते, नए नए आसान में सम्भोग करते।

मोना और रति दिन के समय अक्सर मिला करती।

दो महीने बाद एक दिन बाजार में मेरी मुलाकात मोना से हुई, हम दोनों चाय पीने बैठे।

मोना ने पूछा- संतोष, तुम दोनों का सेक्स जीवन कैसा चलो रहा है?
मैंने कहा- बहुत बढ़िया, सब तुम्हारे कारण ठीक हुआ.

मोना- तुम दोनों कभी साथ में सेक्स वीडियो देखते हो?
मैं बोला- अक्सर देखते हैं. बहुत कुछ सीखा उससे!

मोना- कभी BDSM वीडियो भी देखो साथ? जिसमें लड़की के हाथ पलंग से बांध कर, उसकी आंखों पर पट्टी बांधकर, उसकी चूत चूसी जाती है, सम्भोग किया जाता है। लड़की को घोड़ी बनाकर सम्भोग के समय उसके कूल्हों पर चांटे मारे जाते है। मैं तुम्हे लिंक भेज दूंगी, तुम वीडियो डाउनलोड कर लेना।

मैंने पूछा- मोना, तुम और तुम्हारे पति सेक्स वीडियो देखते हो?
मोना बोली- हाँ!

मैंने वीडियो पेन ड्राइव में डाउनलोड किया, उसे कई बार अकेले में देखा।

फिर मैंने रस्सी खरीदी, कपड़े का काला चश्मा मेरे पास था जो मुझे हवाई जहाज में मिला था।
रात को मैंने रति को कहा- कल छुट्टी है, साथ में बैठकर सेक्स वीडियो देखें?

मैंने पेन ड्राइव टीवी पर लगा दिया।
BDSM का वीडियो देखकर रति अपने जाँघों और चूत पर हाथ फेरने लगी।
मैंने पूछा- करके देखें?

रति मेरा हाथ पकड़कर पलंग पर ले गई

मैंने रति के कपड़े उतार दिए, उसे चित लिटाकर उसके हाथ पलंग पर बाँध दिए, काले कपड़े का चश्मा पहना दिया।

मैं रति को जांघ चूमने के बाद उसकी चूत चूसने लगा.
रति आनंद से मचल रही थी, उसकी चूत से रस निकलने लगा.

वह बोली- अब शुरू करो।

मैंने रति की घमासान चुदाई की.
फिर रति के हाथ खोलकर उसे घोड़ी के समान खड़ा किया।

मैं पीछे से उसकी चुदाई कर रहा था और उसके कूल्हों पर चांटे मार रहा था।
हर चांटे के बाद रति को और जोश आता, वह कमर हिलाकर लंड और अंदर लेने की कोशिश करती.

कुछ देर बाद हम दोनों झड़ गए.

सुबह नाश्ते के बाद रति बोली- सन्तोष, तुम कपड़े उतारकर घोड़ा बन जाओ।
मैं घोड़ा बनकर पलंग पर खड़ा हो गया।

रति ने अपनी चुन्नी मेरे पीठ पर बाँधी, नंगी होकर मेरे पीठ पर चुन्नी को लगाम के समान पकड़कर बैठ गयी, उसके हाथ में लकड़ी का स्केल था।
उसने कहा- आइने में देखो।

मैंने देखा कि रति स्केल को तलवार के समान पकड़कर मेरे पीठ पर बैठी है, उसके चूचे तने थे, बहुत सुन्दर सेक्सी दिख रही थी।

रति ने स्केल मेरे कूल्हे पर मारकर कहा- चल मेरे लौड़े … ओह सॉरी घोड़े!
मैं चलने लगा.
हम दोनों हंस रहे थे.

थोड़ी देर बाद मैंने कहा- घोड़ा थक गया है.
रति उतर गयी।

उसने मुझे चित लिटाकर मेरे हाथ पलंग पर बांध दिये, काला चश्मा पहना दिया.
मुझे कुछ दिख नहीं रहा था।

रति मेरा लंड चूसने लगी.
मेरा लंड उछलने लगा।

रति ने चूत मेरे मुँह पर रखकर कहा- चूसो!
मैं पत्नी की चूत चूसने लगा.
उसका कामरस मेरे मुँह के अंदर जा रहा था।

कुछ देर बाद रति मेरे लंड को चूत में लेकर मेरी सवारी करने लगी.
काफी देर बाद वह झड़कर मेरे ऊपर लेट गयी।

मेरा लंड अभी भी खड़ा था।
रति ने लंड तब तक चूसा जब तक मैं नहीं झड़ा, उसने मेरा वीर्य पी लिया।

मैंने फ़ोन करके मोना को बताया- BDSM का वीडियो रति को बहुत पसन्द आया, हमने करा भी!

मैं- मोना, तेरी सलाह से मेरी जिंदगी बदल गयी. मैं तुझे उपहार देना चाहता हूँ, क्या चाहिए? और एक बात, तुझे कैसे मालूम पड़ा कि रति को सेक्स में क्या पसंद है?

मोना बोली- मैंने उपहार ले लिया है। संतोष, तूने बताया था कि हॉस्टल में तूने अपने रूम पार्टनर के साथ गे सम्भोग का मजा लिया. ठीक उसी तरह लड़कियां भी लेस्बियन सेक्स का आनंद हॉस्टल में लेती हैं. मैंने इसीलिए पूछा था रति ने क्या हॉस्टल में रहकर पढ़ाई की? मैं भी हॉस्टल में रहती थी। मैंने रति से दोस्ती की, तेरी वाइफ लेस्बियन थी. मैंने उसके साथ लेस्बियन सेक्स का आनंद लिया, यही मेरा उपहार है। रति को क्या अच्छा लगता है, यह मालूम हो गया, मैंने तुझे बता दिया। इस बात की चर्चा रति से मत करना। रति यदि लेस्बियन नहीं होती तो भी मालूम हो जाता! पर समय लगता, हम औरतें अपने से जीवन की बातें एक दूसरी को बताती हैं.

मेरी ठंडी बीवी अब सेक्सी बीवी हो गयी है.
तब से अक्सर हम BDSM का खेल खेलते हैं.
हम खूब मजे करते हैं.

आपको यह Wife Sex Kahani कैसी लगी?
मुझे बतायें मेरे इमेल और कमेंट्स में! अपने विचार बताते समय कहानी का नाम भी लिखें!
kamvasnastories69@gmail.com

लेखक की पिछली कहानी थी: छोटी अम्मी और अब्बू की सुहागरात

Click the links to read more stories from the category इंडियन बीवी की चुदाई or similar stories about BDSM.

Loading read count...

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top

केवल 18+ वयस्कों के लिए

इस वेबसाइट की सामग्री केवल वयस्क (18 वर्ष से अधिक आयु) व्यक्तियों के लिए है। वेबसाइट पर प्रकाशित सभी कहानियाँ पूरी तरह से काल्पनिक हैं और केवल साहित्यिक मनोरंजन के उद्देश्य से बनाई गई हैं। हम किसी भी प्रकार की अश्लील सामग्री, आपत्तिजनक व्यवहार या अवैध गतिविधि को समर्थन या प्रोत्साहन नहीं देते। कृपया इस साइट का उपयोग अपने विवेक, आयु और स्थानिक कानूनों के अनुसार करें।

इस साइट का उपयोग करते समय आपकी गोपनीयता सुरक्षित रहती है। आप जो भी सामग्री एक्सेस करते हैं, वह पूरी तरह आपकी व्यक्तिगत पसंद और जिम्मेदारी के अंतर्गत आता है।